Hindi Love Shayari

Hindi Love Shayari

उदास आपको देखने से पहले ये आँखे न रहे 

खफा हो आप हमसे तो ये हमारी साँसे न रहे 

अगर भूल से भी गम दिए हमने आपको आपकी 

जिन्दगी में हम क्या हमारी यादे न रहे 

जो तीर भी आता वो खाली नहीं जाता,
मायूस मेरे दिल से सवाली नहीं जाता,
काँटे ही किया करते हैं फूलों की हिफाज़त,
फूलों को बचाने कोई माली नहीं जाता।

अब ना मैं हूँ, ना बाकी हैं ज़माने मेरे​,
फिर भी मशहूर हैं शहरों में फ़साने मेरे​,
ज़िन्दगी है तो नए ज़ख्म भी लग जाएंगे​,
अब भी बाकी हैं कई दोस्त पुराने मेरे

कहीं बेहतर है तेरी अमीरी से मुफलिसी मेरी,
चंद सिक्कों की खातिर तूने क्या नहीं खोया है,
माना नहीं है मखमल का बिछौना मेरे पास,
पर तू ये बता कितनी रातें चैन से सोया है।

हमारा ज़िक्र भी अब जुर्म हो गया है वहाँ,
दिनों की बात है महफ़िल की आबरू हम थे,
ख़याल था कि ये पथराव रोक दें चल कर,
जो होश आया तो देखा लहू लहू हम थे।

जरुरी तो नहीं जीने के लिए सहारा हो,
जरुरी तो नहीं हम जिनके हैं वो हमारा हो,
कुछ कश्तियाँ डूब भी जाया करती हैं,
जरुरी तो नहीं हर कश्ती का किनारा हो

वक़्त नूर को बेनूर कर देता है,
छोटे से जख्म को नासूर कर देता है,
कौन चाहता है अपनों से दूर रहना,
पर वक़्त सबको मजबूर कर देता है

दिन की रोशनी ख्वाबों को सजाने में गुजर गई,
रात की नींद बच्चे को सुलाने मे गुजर गई,
जिस घर मे मेरे नाम की तखती भी नहीं,
सारी उमर उस घर को बनाने में गुजर गई 

फूल इसलिये अच्छे कि खुश्बू का पैगाम देते हैं,
कांटे इसलिये अच्छे कि दामन थाम लेते हैं,
दोस्त इसलिये अच्छे कि वो मुझ पर जान देते हैं,
और दुश्मनों को मैं कैसे खराब कह दूं.

सरे बाज़ार निकलूं तो आवारगी की तोहमत,
तन्हाई में बैठूं तो इल्जाम-ए-मोहब्बत।

अब मायूस क्यूँ हो उस की बेवफाई पे फ़राज़,
तुम खुद ही तो कहते थे कि वो सबसे जुदा है।

क्या गिला करें तेरी मजबूरियों का हम,
तू भी इंसान है कोई खुदा तो नहीं,
मेरा वक़्त जो होता मेरे मुनासिब,
मजबूरिओं को बेच कर तेरा दिल खरीद लेता

बड़ी तब्दीलियां लाया हूँ
मैं अपने आप में लेकिन,
बस तुमको याद करने की
वो आदत अब भी वाकी है

जब मुझसे मोहब्बत ही नहीं तो रोकते क्यूँ हो?
तन्हाई में मेरे बारे में सोचते क्यूँ हो?